मनदीप सिंह मन्ना के प्रेशर में लीगल बिल्डिंग को इललीगल बनाने पर तुले नगर निगम मुलाजिम
अकाली नेताओं के साथ कमिश्नर को शिकायत देने पहुंचा पीड़ित
कहा – चीफ विजिलेंस ब्यूरो नाजायज़ तौर पर दे रहे मन्ना का साथ
अमृतसर। अमृतसर में खुद को समाज सेवक कहने वाले मनदीप सिंह मन्ना के प्रेशर के चलते नगर निगम मुलाजिम एक जायज बिल्डिंग को नाजायज़ करार दे रहे हैं और छुट्टी वाले दिन भी उसे गिराने चले गए। जिसके बाद पीड़ित ने ना केवल कोर्ट का दरवाजा खटखटाया बल्कि आज अकाली नेता उपकार सिंह संधू के साथ नगर निगम दफ्तर में कमिश्नर के पास शिकायत देने पहुंचे। पीड़ित रंजीत सिंह उर्फ राजा मेहता ने आरोप लगाया कि चीफ विजिलेंस अधिकारी, लोकल बाडी डिपार्टमेंट राजीव सेखड़ी ने अपने दोस्त मनदीप सिंह मन्ना के कहने पर ही नगर निगम अधिकारियों को यह नाजायज़ काम करने के आदेश दिए हैं।
नगर निगम दफ्तर के बाहर प्रेस को जानकारी देते हुए शिरोमणि अकाली दल के उपसचिव उपकार सिंह संधू ने कहा कि पहले मनदीप सिंह मन्ना ने अमृतपाल सिंह बबलू पर नाजायज़ पर्चा दर्ज करवाया और अब वह उनके ही एक अन्य साथी रहे रणजीत सिंह की बिल्डिंग को गिराने की धमकिया दे रहा है। उन्होंने बताया कि रणजीत सिंह पुत्र जसपाल सिंह निवासी 838 मेन बाजार, दशमेश नगर, जोरा फाटक, अमृतसर जन्म से ही अपने परिवार के साथ उपरोक्त पते पर रह रहा है। वह उनका पुश्तैनी भवन जो कि सन 2000 से रजिस्टर है। उस पर दुकानें बनी हुई हैं तथा उसी समय से उपयोग में आ रही हैं।
लेकिन अब सियासी प्रेशर के कारण अमृतसर निगम द्वारा पत्र संख्या एमटीपी/880 एवं पत्र संख्या एमटीपी/881 दिनांक 26-09-2024 के माध्यम से उसे कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था जो संलग्न है। जिसके अनुसार उसकी बिल्डिंग को गलत बताया गया और संबंधित कागजात की मांग की गयी। जिसके जवाब में रणजीत सिंह ने डायरी नंबर एमटीपी 1313 और डायरी नंबर एमटीपी 1314 दिनांक 30-09-2024 के माध्यम से उत्तर दिया और सारे सबूत दिए जिसके आधार पर साबित होता है कि बिल्डिंग उनकी ही है।
तत्पश्चात् दिये गये उत्तर को पर्याप्त न मानते हुए अगले दिन दिनांक 01-10-2024 को पत्र क्रमांक 616 एवं 617 के माध्यम से 269(1) का नोटिस भेजा गया जिसके बाद कोर्ट में याचिका दायर की गई। माननीय न्यायालय ने अपना नोटिस नंबर 1962 और नोटिस नंबर 1963 दिनांक 09-10-2024 निगम अमृतसर को भेजा और निगम अमृतसर को सख्त निर्देश दिया कि वह कोई भी आगे की कार्रवाई या नोटिस ना भेजे।
लेकिन इन सबके बावजूद अमृतसर निगम के अधिकारियों ने अदालत के आदेशों का उल्लंघन करते हुए इमारत को खाली करने और सील करने के लिए पत्र संख्या एमटीपी 968 दिनांक 18-10-2024 के माध्यम से उसे लिखा।
उपकार सिंह संधू ने बताया कि उनकी बिल्डिंग बहुत पुरानी है और निगम के किसी भी कर्मचारी ने इसके निर्माण को लेकर कोई आपत्ति नहीं जताई और न ही इन कर्मचारियों ने यहां कोई निर्माण होते देखा।
उपकार सिंह संधू ने बताया कि रणजीत सिंह का अमृतसर में लंबे समय से ब्लैकमेलिंग का धंधा करने वाले मनदीप सिंह मन्ना से विवाद चल रहा है, जिसके चलते वह निगम अधिकारियों का इस्तेमाल कर उसे और उसके परिवार को मानसिक रूप से परेशान कर रहा है । यदि इस बिल्डिंग के उपरोक्त तथ्यों को ध्यान में रखा जाए तो यदि कोई निर्माण नहीं देखा गया तो निगम केवल उसकी बिल्डिंग को ही क्यों निशाना बना रहा है जबकि उस मार्केट की सभी बिल्डिंगें काफी पुरानी हैं।
उपकार सिंह संधू ने कहा कि नगर निगम अधिकारी ने उसके पास आकर खुद माना कि राजीव सेखड़ी का उन पर प्रेशर है इसीलिए या तो वह मन्ना के साथ बैठकर बात करें अन्यथा उन्हें कार्रवाई करनी पड़ेगी। इसीलिए आज वह नगर निगम कमिश्नर से मिलने आए हैं। उन्हें मानयोग हाईकोर्ट पर पूरा विश्वास है क्योंकि वह भी कहीं गलत नहीं है और वह इस मामले में स्थानीय सरकार मंत्री और मुख्यमंत्री से मुलाकात करेंगे।
रणजीत सिंह ने कहा कि वह मनदीप सिंह मन्ना के साथ ही काम करते रहे हैं और 2017 में उन्होंने इलेक्शन भी उसके घर से ही लड़े थे लेकिन अब चूंकि मनदीप सिंह मन्ना और अमृतपाल सिंह बबलू के झगड़े को लेकर उन्होंने (रणजीत सिंह ने) बीच में आने से और झगड़ा निपटाने से मना कर दिया तो मनदीप सिंह ऐसी हरकतों पर उतर आए हैं। रणजीत सिंह ने कहा कि उसे इंसाफ दिया जाए और ऐसे अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई की जाए जो कि अपने पदों का दुरुपयोग कर रहे हैं। इस अवसर पर हरमनदीप सिंह जिला अध्यक्ष अकाली दल (अमृतसर), परमजीत सिंह सुख अध्यक्ष जिला युवा अकाली दल, ऋषि भनोट, कुलजीत सिंह मेहता भी मौजूद थे।